कोई स्वतंत्र साक्ष्य इस बावत नहीं है कि अभियुक्त को किसी ने विवादित सम्पति पर पोस्त की खेती करते हुए देखा हो।
2.
पत्रावली में कोई स्पष्ट व स्वतंत्र साक्ष्य न होने के बावजूद भी निम्न न्यायालय द्वारा दण्डादेश पारित किया गया है, वह मनमाना तथा न्याय के सिद्धांतों के विपरीत है।
3.
अतः ऐसी स्थिति में जबकि प्रकरण में स्वतंत्र साक्ष्य एवं चिकित्सक की साक्ष्य नहीं हैं यह तथ्य प्रमाणित नहीं हैं कि प्रार्थी के साथ घटना दिनॉंक को उक्त घटना हुई।
4.
अतः प्रकरण में अभियोजन की ओर से ऐसी कोई स्वतंत्र साक्ष्य पेश नहीं की गई हैं जिससे यह प्रमाणित हो कि प्रार्थी की उक्त मोटर साईकिल आरोपीगण द्वारा ही चुराई गई हैं।
5.
अतः प्रकरण में अभियोजन की ओर से ऐसी कोई स्वतंत्र साक्ष्य पेश नहीं की गई हैं जिससे यह प्रमाणित हो कि प्रार्थी की उक्त मोटर साईकिल आरोपीगण द्वारा ही चुराई गई हों।
6.
अतः प्रकरण में अभियोजन की ओर से ऐसी कोई स्वतंत्र साक्ष्य पेश नहीं की गई हैं जिससे यह प्रमाणित हो कि प्रार्थी की उक्त मोटर साईकिल आरोपी द्वारा ही चुराई गई हों।
7.
उक्त साक्षियों को साक्ष्य में प्रस्तुत न किया जाना भी अभियोजन पक्ष के कथानक को संदिग्ध बना देता है, इसलिए भी मामला किसी स्वतंत्र साक्ष्य से समर्थित न होने के कारण दण्डादेश निरस्त किए जाने योग्य है।
8.
अतः अभियोजन की ओर से प्रस्तुत उक्त साक्ष्य के विश्लेषण से यह स्पष्ट हैं कि घटना दिनॉंक को प्रार्थी को चोट आई थीं, किन्तु प्रकरण में अभियोजन द्वारा ऐसी कोई स्वतंत्र साक्ष्य पेश नहीं की गई हैं जिससे प्रार्थी के कथन का समर्थन होता हों, अपितु प्रार्थी ने अपने पुनः प्रति-परीक्षण में अभियोजन की कहानी का समर्थन नहीं किया हैं।
9.
प्रकरण में अभियोजन की ओर से प्रस्तुत साक्ष्य से फरियादी अवध नारायण श्रीवास्तव व उनके सहकर्मी हरि नारायण सक्सैना के कथन और उनके द्वारा की गई प्रथम सूचना रिपोर्ट का समर्थन घटना के चश्मदीद एवं स्वतंत्र साक्षी मोर खान एवं रामचरण द्वारा नहीं किया गया हैं, अतः ऐसी स्थिति में स्वतंत्र साक्ष्य के समर्थन के अभाव में अभियोजन का प्रकरण संदिग्ध प्रतीत होता हैं।
10.
गवाहान के बयानों में आया है कि मुखविर ने हुडोली बाजार में अपीलार्थी / अभियुक्ता के बारे में बता दिया था और साक्ष्य में यह भी आया है कि इस स्थान से घटनास्थल की दूरी महज 400-500 मीटर है, लेकिन पुलिस कर्मचारीगण ने हुडोली बाजार से किसी भी गवाह को अपने साथ ले जाने की कोशिश नहीं की, जबकि उनके पास स्वतंत्र साक्ष्य इकट्ठा करने का पर्याप्त अवसर था।